जाने खिलाफत ए उस्मानिया सुलतान सलाहुद्दीन अयूबी के मकबरे को जर्मनी के राजा ने ऐसा अनोखा तोहफा दिया था
संवाददाता
सुल्तान सलाहुद्दीन अयूबी के मकबरे को जब जर्मनी के राजा ने यह तोहफा दिया था इसपर अरबी में जो लिखा है उसका इस तरह अनुवाद है:-
बताया जाता है कि चित्र में दिखाया जा रहा”यह मुकुट जर्मनी के महामहिम सम्राट विल्हेम द्वितीय द्वारा उनकी उपस्थिति सलाउद्दीन अयूबी की कब्र की तीर्थयात्रा की स्मृति में प्रस्तुत किया गया था।
इस कांस्य से बनी 74 सेंटीमीटर व्यास की फूलो जैसी दिखने वाली माला को जर्मनी के राजा कैसर विल्हेम द्वितीय ने 1898 में तुर्की के अधीन मध्यपूर्व के अपने राज्य दौरे के दौरान गिफ्ट किया था। तब खिलाफाते उस्मानिया और जर्मनी मित्र राष्ट्र हुआ करते थे और आज का सीरिया, मक्का, मदीना, फिलिस्तीन, लेबनान तुर्की के अधीन था।
1 अक्टूबर 1918 को जब अंग्रेज विश्व प्रथम जीत गए थे तो दमिश्क में प्रवेश करने पर अंग्रेजों ने इसे अपने कब्जे में ले लिया और टी ई लॉरेंस (“अरब के लॉरेंस”) ने 11 नवंबर 1918 को इसे चुराकर इंपीरियल वॉर म्यूजियम में रखवा दिया।
इस इंपीरियल वार म्यूजियम में भारत से चुराई हुई और भी बहुत सारी चीज़ें मौजूद है जैसे कोहिनूर का हीरा, टीपू सुलतान की तलवार इत्यादि।
संवाद!
मोहमद अब्दुल रशीद खान