नौकरी दिलाने के नाम से धोखाधड़ी कर हजारों रुपए की ठगी वाला गैंग गिरफ्तार

बिहार
विशेष संवाददाता एवं ब्यूरो

नौकरी के नाम पर ठगी..बंधक बनाकर पीटा..वसूली मोटी रकम..पुलिस ने गैंग के चुंगल से 11 लड़कियों को कराया मुक्त!

बिहार के मुजफ्फरपुर में नौकरी का झांसा देकर 11 लड़कियों से ठगी। एमएलएम मार्केटिंग की तर्ज पर नौकरी के नाम पर ठगी। जरूरतमंदों को.बंधक बनाकर की पीटाई।वसूली मोटी अमाउंटMपुलिस ने गैंग के चुंगल से 11 लड़कियों को कराया मुक्।.सदर थाना इलाके की घटना का पर्दा फाश।

इस बारे में ऐसे बताया जाता है कि मुजफ्फरपुर में एमएलएम मालती लेवल मार्केटिंग की तरह युवाओं को सरकारी नौकरी का लालच देकर फसाया जा रहा है।पहले नौकरी का झांसा देकर बुलाया जाता है फिर उनसे ट्रेनिंग के नाम पर 25 हजार रुपिया मंगवाए जाते हैं।रुपिया मिलने के बाद भी नौकरी नही मिलती है।

जिले के सदर थाना क्षेत्र में नौकरी के नाम पर झांसा देकर युवक-यु्वतियों से ठगी करने वाला गिरोह सक्रिय है। गोबरसही में फिर नया मामला आया है सामने। बीते 15 दिनों में यह तीसरी घटना है। सीवान जिले की 11 किशोरियों और छपरा के एक युवक को कृषि विभाग में नौकरी दिलाने के नाम झांसा देकर रुपये ठगने के बाद बंधक बना लिया गया। सूचना मिलते ही सदर थाने की पुलिस ने मौके पर पहुंच कर सभी को मुक्त कराया। इस दौरान मौके से मुख्य शातिर फरार हो गया।पुलिस ने एक युवक को हिरासत में लिया है। पूछताछ की जा रही है।पुलिस ने मुक्त किशोरियों के परिजनों को सूचना दे दिया है। किशोरियों ने एक महिला पर प्रताड़ित करने का आरोप लगाया है।

कहा कि हेडमैम दूसरी लड़कियों को न बुलाने पर पिटाई करती थीं। मामले में किशोरियों ने आवेदन दिया है। मामला सदर थाना इलाके के गोबरसही का है।पुलिस मामले की सख्ती से तहकीकात में जुट गई है।सभी पीड़ित लोग सीवान जिले के रघुनाथपुर थाना क्षेत्र की रहने वाले बताए जा रहे हैं। दो किशोरियों के परिजन थाने पर पहुंच गए हैं।थानेदार ने बताया कि किशोरी के परिजन ने थाने पर पहुंच कर बेटी को बंधक बनाए रखने की जानकारी दी।

पुलिस ने 11 किशोरियां और एक युवक को मुक्त कराया है।मुख्य सरगना की गिरप्तारी को छापेमारी कर रही है

।बता दे कि सदर थाना क्षेत्र के गोबरसही में एक फर्जी कंपनी का संचालन हो रहा था। कंपनी का नाम डीएससी है। इसमें लड़कों और लड़कियों को सरकारी नौकरी के झांसा देकर बुलाया जाता था। बदले में ₹25000 के डिमांड की जाती

थी। जब पैसा मिल जाता तब 2 से 3 महीने ट्रेनिंग के नाम पर युवाओं को गुमराह किया जाता है ।कंपनी से इसके बाद उनको एक और युवा को बुलाने के लिए प्रेशर बनाया जाता था। थक हारकर युवा अपने किसी परिचित को कंपनी में ज्वाइन करवाते थे। उसके बाद उसे भी नौकरी के नाम पर ₹25000 रुपिया ठग लिए जाते थे।एक किशोरी ने बताया कि एक लड़की की मदद से दूसरे को बुलाया जाता था। कहा जाता था कि एक लड़की आने पर दो हजार की छूट मिलेगी। सभी को कृषि विभाग में नौकरी कराने का झांसा देकर 25-25 हजार रुपये लिए गए।

किशोरी ने बताया कि उसकी इंटर की परीक्षा है। वह घर जाने की जिद करने लगी।इस पर मुख्य सरगना ने कमरा में बंद किया। मोबाइल छीन लिया। किसी तरह रविवार सुबह मोबाइल मिला जिससे पिता को कॉल की।वहीं सदर थाना के दरोगा प्रकाश कुमार पासवान ने बताया कि एक लड़की का भाई थाना पर आकर पुलिस से शिकायत की। सूचना के आलोक पर मौके पर पुलिस पहुंचे। वहां से कई लड़कियों को मुक्त करवाया गया। मामले की जानकारी वरीय अधिकारी को दे दी गई है। जांच की जा रही है।मास्टरमाइंड पारू के अखिलेश को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया है। इन लड़कियों को किराए के मकान में रखा जाता था। पूछताछ के बाद कारवाई की जा रही है।
संवाद:
डी आलम शेख

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