मोदी को हराना है तो सबसे पहले ईवीएम पर बैन लगानी जरूरी है,

दलित-मुस्लिम भाईयों सब से पहले ईवीएम के खिलाफ आवाज उठाईये साथ ही इस बार कांग्रेस इंडिया गठबंधन को वोट दें और मोदी को सत्ता से बाहर कर संविधान बचाएं।

जानकारी के अनुसार 2014के लोकसभा चुनाव से लेकर अबतक यानी 2019 के लोकसभा के चुनाव परिणाम को देखते ईवीएम मशीन का तगड़ा खेला सबको समझ में आने लगा है।जहां जब कहीं भी बीजेपी की हार का समय आता है तो ईवीएम के सहारे जबकि जितने मतदाता की तादाद रहती नही है फिर भी उस से बढ़कर बीजेपी भारी मतों से चुनाव जीत ती चली आ रही है। तो दूसरी तरफ वर्ष 2019 के आम चुनाव में कुल 91 करोड़ मतदाताओं में से करीब 27 करोड़ मतदाता दलित-मुस्लिम समुदाय के थे। 27 करोड़ दलित-मुस्लिम मतदाताओं में से करीब 19 करोड़ मतदाताओं ने क्षेत्रीय पार्टियों और जातीय उम्मीदवारों को वोट किया।

हमारे वोट क्षेत्रीय पार्टियों और जातीय उम्मीदवारों में बंटे और इसका सीधा फायदा बीजेपी के उम्मीदवारों को हो गया। इसका नतीजा यह हुआ कि, सिर्फ लगभग 23 करोड वोट लेकर दुसरी बार मोदी सत्ता में आ गया। यह पर भी सबकुछ ईवीएम का ही गेम हो चुका है।

ऐसे में अब 2024 के आम चुनाव होने है। इस बार मोदी सत्ता में आया तो संविधान जाना निश्चित है। हमे बस इतना ध्यान रखना हैं कि, वोट के अधिकार की शक्ति का प्रयोग करते समय दलित- मुस्लिम परिवार के हर एक सदस्य के वोट का प्रत्यक्ष या परोक्ष रूप से मोदी बीजेपी को फायदा न हो। यह भी तय करना होगा कि, बीजेपी मोदी को सत्ता से नीचे खींचने के लिए अपने परिवार का एक-एक वोट सीधे कांग्रेस इंडिया INDIA अलायंस के उम्मीदवारों को ही जाएगा। इस का खयाल रहे। खासकर सब मिलकर ईवीएम का बहिष्कार करे।

संवाद
अच्युत भोईटे (बी.कॉम.एमबीए)
संस्थापक तथा राष्ट्रिय संयोजक
दि बुध्दिस्ट शेड्युल कास्ट मिशन ऑफ इंडिया.
मो. +61451072528

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