यहा एक ऐसा मंदिर है जहां मां अपने भक्तों को खुद देती है प्रसाद,और करती है भक्तों से बात

बुंदेलखंड

संवाददाता

बुंदेलखंड में ऐसा मंदिर जहां मां भक्तों को खुद देती प्रसाद, आने वालों से करती हैं बात

सिद्ध शक्तिपीठ अछरू माता का दिव्य दरबार, मां से मिलता आशीर्वाद नौ देवियों के अद्भुत चमत्कार कुंड के जल से मिलती बीमारियों से निजात

पंकज पाराशर छतरपुर

विश्व में सिद्ध शक्ति पीठ अछरू माता के दिव्य दर्शनों के लिए विदेशी सैलानी मत्था टेक कर आशीर्वाद लेते हैं। अछरू माता का मंदिर निवाड़ी जिले में पृथ्वीपुर के पास ग्राम पंचायत माडिया में है। यहां पर बना कुंड के जल से बीमारियों से निजात मिलती है।

अलौकिक एवं चमत्कारिक कुण्ड के कारण प्रसिद्ध है। मां के दरबार में आने वाले भक्तों को इस दिव्य जल कुण्ड से आशीर्वाद स्वरूप प्रसाद प्राप्त होता है। मन्दिर में नौ देवियों की धातु मूर्तियां भी स्थापित हैं ।

दर्शनार्थियों को मां के दरबार में जाने का एवं मां की कृपा पाने का सौभाग्य मिलता है। मंदिर का इतिहास 500 वर्ष पुराना है।

आज हम आपको बताने जा रहे हैं, अछरू माता मंदिर का इतिहास जो कि यादव समाज से जुड़ा हुआ है। लगभग 500 वर्ष पुरानी बात है, अछरू नाम के एक यादव किसान थे और उनकी कुछ भैंस गुम हो गईं थी, तो उन्हें ढूंढते ढूंढ़ते लगभग एक महीना हो गया। वह किसान थक हार के एक जगह बैठ गए और प्यास के मारे उनके प्राण निकले जा रहे थे। तभी देवी माँ ने उन्हें एक कुंड में से निकल कर दर्शन दिए औऱ कहा कि इस कुंड में से पानी पी लो और उन्हें कहा कि बिसागर में आपकी सभी भैसें चर रही है। लेकिन अछरू नाम के किसान ने कुंड में से पानी पिया और कुंड की गहराई पता करने के लिए उन्होंने अपनी लाठी कुंड में डाली तो वो पूरी चली गयी और तो किसान अचम्भित रह गया।

फिर वो माता के बताए स्थान पर गया तो उन्हें सभी भैंसे मिल गयीं और उनकी लाठी भी उसी तालाब में मिली। यह देख अछरू यादव नाम का किसान अचम्भित रह गया। उन्होंने यह सब बात सभी तो बताई और धीरे धीरे लोग इस स्थान पर आने लगे और लोगो की मनोकामनाएं पूर्ण होती चली गईं।

भक्तों ने उस स्थान पर एक भव्य मंदिर का निर्माण करवा दिया और मां के दरबार में श्रद्धालुओं की भीड़ लगी रहती है। नौ देवियों की शक्ति के दर्शनों से लोगों के बिगड़े काम बन जाते हैं।

SHARE THIS

RELATED ARTICLES

LEAVE COMMENT